अनजान सा पंक्षी
AJAY NAYAK
April 06, 2022
अनजान सा पंक्षी अनजान सी राहों का, अनजान सा पंक्षी हूँ उड़कर चला आया हूँ, आज तेरे घोसले में भटक सा गया हूँ, अपनी मंजिल का रास्ता हो गयी...
तसलीमा नसरीन की कविताएँ, अनुवाद - गरिमा श्रीवास्तव प्रसिद्ध लेखिका तसलीमा नसरीन की कुछ नयी कविताओं का बंगला से हिन्दी अनुवाद प्रोफ़ेसर ग...