नया साल नयी सकारात्मकता
नया साल है, पुराने लोग हैं,
नया समय है , पुरानी घड़ी है,
नया घर है, पुराने सदस्य है,
नया स्थान है, पुराने यार है,
नया मयखाना है, पुरानी बोतल है,
नयी मंजिले है, पुरानी समस्याएं है,
नया हौसिला है, पुरानी दर्द है,
नयी ख्वाहिशें है, पुराने सपने है,
नयी सोच है, पुरानी जवानी है,
हर नयी चीज में, सब पुरानी कहानी है,
बस एक ही ऐसी चीज है
जो पुरानी को भी नया कर देती है
जो इस चरा चर जगत में,
नयी ऊर्जा का संचार कर देती है
उसका नाम सकारात्मकता, विश्वास है।
फिर से दुनिया को चूम ले
कुछ खुद भी मजा चख ले
थोड़ा दूसरों को भी मजा चखा ले
मिल बाटकर खाने का कुछ अलग ही मजा है,
थोड़ा विश्वास उसका ले लें
थोड़ी अपनी सकारात्मकता उसे दे दें।
समय हमेशा बदलता रहता है। इसलिए वह हर पल नया रहता है। हमारी सोच, हमारे सपने अभी ल जगह अटके रहते हैं। तब तक समय अपने आप को नया करके तरोताजा कर लेता है। और हम सपने देखते रह जाते हैं।
सपने देखना अच्छी बात है, इससे हमे जीवन मे आगे बढ़ने के रास्ते की जानकारी होती है कि जाना कहाँ है। लेकिन सपने देखने से अच्छा है जीवन मे जो भी लक्ष्य मिला हो उसे मन लगाकर पूरा करना। या किसी भी चीज को लक्ष्य मानकर उसे मन लगाकर पूरा करना। आपकी यही लगनशीलता आपको आपके सपनो से भी आगे पंहुचा देगी। जीवन मे सिर्फ एक ही चीज नया है और वो है समय। नही तो सबकुछ वही पुराना है।
जैसे हम रोज कपड़े पहनते हैं । पुराना होने पर उसे एक दिन फेक देते हैं या किसी और को दे देते हैं। फेकने या देने, दोनों की स्थिति में जिसे बीबी कपड़े की जरूरत रहती है और वह खरीदने की स्थिति में नही रहता है वह उन कपड़ों को अपने लिए नया समझकर पहन लेता है। उसके लिए वो कपड़े नए ही होते हैं। उसी प्रकार हम भी किसी का पहना हुआ ही पहनते हैं । इसलिए जीवन में समय के अलावा कुछ भी नया नही है। इसलिए हमें उसका सदुपयोग करना चाहिए । ताकि अपने लक्ष्य को जल्दी से जल्दी प्राप्त कर सकें। व जीवन मे देखे हुए सपनो को साकार कर सकें।
आइए इस नए साल में सपनों के साथ साथ एक लक्ष्य निर्धारित करें। सकारात्मक सोच, एक नई उर्जा व विश्वास के साथ उसी को पूरा करने का प्रयास करें। देखिएगा आपके द्वारा निर्धारित किया गया लक्ष्य भी पूरा होगा व साथ मे आपके सपने भी पूरे होंगे। सही समय पर वो भी नए समय पर । लेकिन तब समय आपके लिए सही तो होगा लेकिन नया नही होगा। क्योंकि वह आपके मुट्ठी में होगा । जब चाहेंगे तब वह नया होगा। नही तो वही का वही रहेगा। जैसा आप चाहते हैं।
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